विस्थापित गांवों को डैम के पानी से बेघर करने का आरोप
आजसू पार्टी के केंद्रीय महासचिव हरेलाल महतो ने चांडिल डैम के पानी से विस्थापित गांवों को जलमग्न करने को एक साजिश करार दिया है। उनका दावा है कि मौसम विभाग ने पहले ही अलर्ट जारी कर दिया था, लेकिन जल संसाधन विभाग ने उचित कदम नहीं उठाए, जिससे ग्रामीणों को बेघर होना पड़ा।
मख्य बिंदु:
- चांडिल डैम के पानी से विस्थापित गांवों को जलमग्न करने का आरोप।
- मौसम विभाग की चेतावनी के बावजूद जलस्तर नहीं घटाया गया।
- आपदा प्रबंधन के निर्देशों का उल्लंघन किया गया।
- हेमंत सरकार पर झूठे वादों का आरोप।
- बाढ़ प्रभावित गांवों में राहत सामग्री वितरण।
पहले से दी गई चेतावनी के बावजूद नहीं उठाए गए कदम
- मौसम विभाग ने पहले ही बारिश और बाढ़ की चेतावनी जारी कर दी थी।
- जल संसाधन विभाग को डैम का जलस्तर बढ़ने से विस्थापित गांवों के जलमग्न होने की जानकारी थी।
- अगर बारिश से पहले डैम का जलस्तर कम कर दिया जाता, तो ग्रामीणों के घर और खेत बचाए जा सकते थे।
साजिश के तहत विस्थापितों को बेघर करने का आरोप
- हरेलाल महतो ने इसे एक सोची-समझी साजिश बताया, जिसके तहत ग्रामीणों को बेघर किया गया।
- उन्होंने इस मामले की उच्चस्तरीय जांच की मांग की है।
आपदा प्रबंधन की बैठक में लिए गए निर्णयों का उल्लंघन
- आपदा प्रबंधन की बैठक में तय किया गया था कि चांडिल डैम का जलस्तर 179 मीटर से अधिक नहीं किया जाएगा।
- इसके बावजूद डैम में 183.5 मीटर तक जल भंडारण किया गया, जिससे विस्थापित गांव जलमग्न हो गए।
हेमंत सरकार पर झूठे वादे करने का आरोप
- हरेलाल महतो ने हेमंत सरकार और उसके विधायकों पर आरोप लगाया कि उन्होंने विस्थापन आयोग गठित करने का झूठा वादा किया।
- उन्होंने कहा कि इस धोखाधड़ी का खामियाजा सरकार को भुगतना पड़ेगा।
बाढ़ प्रभावित गांवों का दौरा और राहत सामग्री वितरण
हरेलाल महतो ने बाढ़ प्रभावित विस्थापित ग्राम काली चामदा और मैसड़ा का दौरा किया। उन्होंने पीड़ित परिवारों की समस्याएं सुनीं और उन्हें राहत सामग्री भी वितरित की।
राहत सामग्री का वितरण
- काली चामदा में 44 परिवारों और मैसड़ा में तीन परिवारों को राशन सामग्री दी गई।
- प्रत्येक परिवार को चावल, दाल, और आलू का एक पैकेट प्रदान किया गया।
- हरेलाल महतो ने आगे भी जरूरत के अनुसार सहायता देने का वादा किया।