कांग्रेस प्रभारी के बयान पर भाजपा नेता समीर उरांव का पलटवार
भाजपा अनुसूचित जनजाति मोर्चा के राष्ट्रीय अध्यक्ष एवं पूर्व सांसद समीर उरांव ने झारखंड कांग्रेस के नवनियुक्त प्रदेश प्रभारी सीके राजू के बयान पर कड़ी प्रतिक्रिया दी। उन्होंने कांग्रेस पर आदिवासी विरोधी नीतियों का आरोप लगाते हुए कहा कि कांग्रेस का इतिहास आदिवासी मूलवासी शोषण से भरा हुआ है।
कांग्रेस पर आदिवासी विरोधी होने का आरोप
समीर उरांव ने कहा कि कांग्रेस पार्टी केवल दिखावा कर रही है, जबकि सच्चाई इसके बिल्कुल विपरीत है। उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस ने झारखंड अलग राज्य आंदोलन को कमजोर करने, जयपाल सिंह मुंडा और झामुमो आंदोलन को कुचलने का काम किया। उन्होंने खरसावां गोलीकांड का जिक्र करते हुए कहा कि कांग्रेस शासन में आदिवासियों पर अत्याचार किए गए, जिसे इतिहास कभी भूल नहीं सकता।
द्रौपदी मुर्मू के अपमान का मुद्दा उठाया
उरांव ने कहा कि कांग्रेस का आदिवासी विरोध तब चरम पर पहुंच गया जब भाजपा ने द्रौपदी मुर्मू को राष्ट्रपति पद का उम्मीदवार बनाया। कांग्रेस ने न केवल उनका राजनीतिक विरोध किया, बल्कि अमर्यादित और अपमानजनक शब्दों का भी प्रयोग किया। उन्होंने यह भी पूछा कि कांग्रेस ने अपने ही वरिष्ठ नेता स्व. कार्तिक उरांव द्वारा उठाए गए दोहरा लाभ के सवाल पर चुप्पी क्यों साध ली।
भाजपा को बताया झारखंड की जनभावनाओं का संरक्षक
उरांव ने कहा कि अटल बिहारी वाजपेयी के नेतृत्व में भाजपा ने झारखंड अलग राज्य का सपना साकार किया और आदिवासी मंत्रालय की स्थापना की। उन्होंने भगवान बिरसा मुंडा की जयंती पर राज्य गठन का जिक्र करते हुए कहा कि मोदी सरकार आदिवासी कल्याण के लिए कई योजनाओं को धरातल पर उतार रही है, जिनमें एकलव्य विद्यालय और जन मन योजना शामिल हैं।
भाजपा सरकार में बढ़ी आदिवासी नेतृत्व की भागीदारी
समीर उरांव ने कहा कि आज मोदी सरकार में आदिवासी समाज के मंत्रीगण की भागीदारी बढ़ी है और कांग्रेस को यह समझना चाहिए कि समाज ईमानदार नीयत से जुड़ता है, केवल ख्याली पुलाव पकाने से नहीं। उन्होंने कहा कि झारखंड की जनता अब कांग्रेस की नीति और नीयत से परिचित हो चुकी है और कांग्रेस का जनाधार खत्म हो रहा है।